मेरे माथे पर तुम्हारे होंठों का स्वाद अभी तक है,
तुम्हारी हर छोटी नादानियाँ मुझे याद अभी तक है।
अभी तक है तुम्हारे होने का एहसास इस दिल में,
वो पहले प्यार की कशिश वो जज़्बात अभी तक हैं।
जिन रस्तों से तुम गुज़रे वहाँ पर फूल खिल गए,
जिन रस्तों से तुम मुड़ गए वो बर्बाद अभी तक है।
तुम्हें मिलने से जो पहले तड़प जो आस थी दिल में,
तुम्हारे बाद इस दिल के वही हालात अभी तक है।
मेरा ख़ुर्शीद मेरा सूरज मेरी रोशनी थे तुम,
तुम चले क्या गए मेरे घर में रात अभी तक है।।
wah wah wah wah mere shayar
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